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सर्व आदिवासी समाज ने संत गहिरा गुरुजी के 28वें पुण्ड तिथि के अवसर पर कंवर समाज भवन में पुष्प माल्यार्पण कर दिए श्रद्धांजलि
(कीदा) छत्तीसगढ़, रायगढ़, लैलूंगा

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सर्व आदिवासी समाज ने संत गहिरा गुरुजी के 28वें पुण्ड तिथि के अवसर पर कंवर समाज भवन में पुष्प माल्यार्पण कर दिए श्रद्धांजलि
शशि सिदार / शिवशंकर पैंकरा की खास लेख
जय जोहार इंडिया TV रायगढ़/लैलूंगा *लैलूंगा- 21 नवंबर 2024 को कंवर समाज भवन इंदिरा नगर लैलूंगा संत श्री रामेश्वर गहिरा गुरुजी के 28 वें पुण्य तिथि के अवसर पर उनके द्वारा हमारे आदिवासी समाज के लिए किए गए नेक कार्य को याद करते हुए उनके छाया चित्र के सामने दीप प्रज्वलित कर श्रद्धा सुमन अर्पित कर श्रृद्धांजली दिया गया।परम् पूज्य गुरूजी 21 नवम्बर 1996 देवउठनी एकादशी के दिन अपनी भौतिक काया का त्याग कर 92 वर्ष के उम्र में बह्मलीन् हो गये ,दीन-दुखियों की सेवा ही उनका धर्म था।मदिरापान को आदिवासियों के पिछड़ेपन एवं शोशण का एक प्रमुख कारण मानते थे। वे अपने उपदेशों में वनवासी आदिवासियों को “सत्य शांति दया क्शमा“ धर्म का पालन करने की चार अच्छी बातें ग्रहण करने कर के लोगों को प्रेरित करने में हमेशा सहयोग करते थे,बाल्यकाल से ही गुरूजी की संकल्पशीलता सतत् साधना वाले व्यक्ति थे।
इस अवसर पर कंवर समाज से सर्व श्री अनतराम पैंकरा जी संरक्षक, श्री घासीराम पैंकरा अध्यक्ष, श्री जयराम पैंकरा सचिव, श्री रामकुमार साय संरक्षक, श्री नंदकुमार साय पैंकरा अध्यक्ष कर्मचारी संघ , श्री मुनकु राम पैंकरा सरपंच झरन, श्री डमरू पैकरा बनेकेला, श्री भुवनेश्वर पैंकरा सलखिया, श्री कमल पैंकरा झारआमा, अनिल कुमार पैंकरा लैलूंगा , देवचरण पैंकरा महासचिव लैलूंगा एवं अन्य सामाजिक सदस्य उपस्थित रहे l**लैलूंगा- 21 नवंबर 2024 को कंवर समाज भवन इंदिरा नगर लैलूंगा संत श्री रामेश्वर गहिरा गुरुजी के 28 वें पुण्य तिथि के अवसर पर उनके द्वारा हमारे आदिवासी समाज के लिए किए गए नेक कार्य को याद करते हुए उनके छाया चित्र के सामने दीप प्रज्वलित कर श्रद्धा सुमन अर्पित कर श्रृद्धांजली दिया गया।परम् पूज्य गुरूजी 21 नवम्बर 1996 देवउठनी एकादशी के दिन अपनी भौतिक काया का त्याग कर 92 वर्ष के उम्र में बह्मलीन् हो गये ,दीन-दुखियों की सेवा ही उनका धर्म था।मदिरापान को आदिवासियों के पिछड़ेपन एवं शोशण का एक प्रमुख कारण मानते थे। वे अपने उपदेशों में वनवासी आदिवासियों को “सत्य शांति दया क्शमा“ धर्म का पालन करने की चार अच्छी बातें ग्रहण करने कर के लोगों को प्रेरित करने में हमेशा सहयोग करते थे,बाल्यकाल से ही गुरूजी की संकल्पशीलता सतत् साधना वाले व्यक्ति थे।
इस अवसर पर कंवर समाज से सर्व श्री अनतराम पैंकरा जी संरक्षक, श्री घासीराम पैंकरा अध्यक्ष, श्री जयराम पैंकरा सचिव, श्री रामकुमार साय संरक्षक, श्री नंदकुमार साय पैंकरा अध्यक्ष कर्मचारी संघ , श्री मुनकु राम पैंकरा सरपंच झरन, श्री डमरू पैकरा बनेकेला, श्री भुवनेश्वर पैंकरा सलखिया, श्री कमल पैंकरा झारआमा, अनिल कुमार पैंकरा लैलूंगा , देवचरण पैंकरा महासचिव लैलूंगा एवं अन्य सामाजिक सदस्य उपस्थित रहे l*

